बर्फबारी के बाद उत्तरकाशी के सांकरी गांव का दृश्य।
गंगोत्री और यमुनोत्री धाम सहित हर्षिल घाटी में सोमवार को दूसरे दिन भी हल्की बर्फबारी हुई, जिससे तापमान माइनस में पहुंचने से यहां नलों में पानी जमने लग गया है। उधर, सुदूरवर्ती विकासखंड मोरी स्थित केदारकांठा ट्रेक के बेस कैंप सांकरी पहुंचे गुजरात के पर्यटकों के चेहरे बर्फबारी देखकर खिल उठे।
बताया, उन्होंने जीवन में पहली बार बर्फ देखी है। रविवार को बदले मौसम के मिजाज के साथ ऊंचाई वाले इलाकों में बर्फबारी शुरू हुई। सोमवार को दूसरे दिन भी हवा के साथ ऊंचाई वाले क्षेत्रों में हल्की बर्फ गिरी। हर्षिल घाटी के सुक्की गांव निवासी काश्तकार मोहन सिंह राणा ने बताया, बर्फबारी से तापमान रात के समय माइनस चार से पांच डिग्री सेल्सियस तक पहुंच रहा है। इससे नलों में पानी भी जमने लगा है।
उत्तरकाशी के मोरी के सांकरी में बर्फबारी का नजारा
बर्फबारी के कारण सर्द हवाएं चलने से कड़ाके की ठंड हो रही है। उन्होंने बर्फबारी को सेब के पेड़ों सहित अन्य फसलों के लिए संजीवनी बताया।
उत्तरकाशी हर्षिल का खूबसूरत नजारा
उधर, मोरी के केदारकांठा ट्रेक के बेस कैंप सांकरी गांव में पर्यटन व्यवसायी चैन सिंह राणा ने बताया, केदारकांठा ट्रेक पर ट्रैकिंग के लिए गुजरात से पर्यटकों का दल पहुंचा है। इनमें से कई ने पहली बार बर्फ गिरते हुए देखी।
गंगोत्री धाम में हुई बर्फबारी का नजारा
उधर, यमुनोत्री धाम में बर्फबारी से गरुड़ गंगा के पास निर्माणाधीन हेलिपैड का काम प्रभावित हो गया है। यमुनोत्री मंदिर के आधे-अधूरे मरम्मत कार्य पर भी बर्फबारी का असर पड़ा है।
यमुना के मायके खरसाली गांव से आशुतोष उनियाल ने बताया, यमुनोत्री धाम सहित आसपास खरसाली गांव सहित जानकीचट्टी, नारायणपुरी, फूलचट्टी में भी रुक-रुककर बर्फबारी हो रही है।